डायबिटीज के इलाज में काम आने वाली 12 दवाएं हुई सस्ती

नई दिल्ली। देश के दवा मूल्य नियामक एनपीपीए ने डायबिटीज के इलाज में काम आने वाली 12 जेनेरिक दवाओं की अधिकतम कीमत तय कर दी। इन दवाओं में ग्लिमेपाइराइड टैबलेट, ग्लूकोज की सुई और इंसुलिन सॉल्यूशन शामिल हैं। एनपीपीए ने एक ट्वीट कर बताया कि हर भारतीय डायबिटीज जैसी बीमारी का सस्ता इलाज पा सके, इसके लिए एनपीपीए ने डायबिटीज के इलाज में काम आने वाली 12 दवाओं की अधिकतम कीमत तय कर दी है। इसके तहत ग्लिमेपाइराइड एक एमजी की एक टैबलेट की अधिकतम खुदरा कीमत अब 3.6 रुपये होगी, जबकि दो एमजी वाले एक टैबलेट की कीमत 5.72 रूपये होगी। 25 प्रतिशत स्ट्रेंथ वाले एक एमएल ग्लूकोज इंजेक्शन की कीमत 17 पैसे, जबकि 40 आईयू/एमएल स्ट्रेंथ के एक एमएल इंसुलिन (घुलनशील) इंजेक्शन की कीमत 15.09 रुपये तय की गई है। इसी प्रकार 40 आईयू/एमएल स्ट्रेंथ वाले एर एमएल इंटरमीडिएट एक्टिंग (एनपीएच) सॉल्यूशन इंसुलिन इंजेक्शन की कीमत भी 15.09 रुपये तय की गई है। 40 आईयू/एमएल स्ट्रेंथ के 30:70 प्रीमिक्स इंसुलिन इंजेक्शन की भी प्रति इंजेक्शन यही कीमत तय की गई है। एनपीपीए ने कहा कि 500 एमजी मेटफॉर्मिन इमीडिएट रिलीज टैबलेट की कीमत प्रति टैबलेट 1.51 रूपये जबकि 750 एमजी वाले टैबलेट की कीमत 3.05 रुपये और एक ग्राम स्ट्रेंथ वाले मेटफॉर्मिन टैबलेट की अधिकतम कीमत 3.61 रुपये रखी गई है। मेटफॉर्मिन कंट्रोल रिलीज एक ग्राम वाले प्रति टैबलेट का अधिकतम मूल्य 3.66 रुपये है, जबकि इसके 750 एमजी और 500 एमजी वाली टैबलेटों की कीमत क्रमश: 2.40 रुपये और 1.92 रुपये प्रति टैबलेट है।

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