सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट का जल मंत्री ने किया दौरा…

नई दिल्ली। दिल्ली सरकार ने वर्ष 2025 से पहले यमुना नदी को साफ करने का लक्ष्य रखा है। इस कड़ी में दिल्ली सरकार ने पड़ोसी राज्यों से यमुना नदी में गिरने वाले सभी प्रकार की गंदगी को ट्रीट करने का जिम्मा उठाया है और दूसरे राज्यों से आने वाले गंदे पानी को भी साफ करने का निर्णय लिया है। सरकार ने सर्वप्रथम हरियाणा से आने वाले 15 एमजीडी गंदे पानी को रीसाइकल करना आरंभ किया है। इस पानी से टिकरी ख़ुर्द में नई झील बनेगी। दिल्ली सरकार के अनुसार यमुना नदी में गिरने वाले लगभग 155 एमजीडी गंदगी का स्रोत पड़ोसी राज्य हैं, जिनमें हरियाणा के ड्रेन नंबर 6 के माध्यम से 15 एमजीडी व बादशाहपुर ड्रेन के माध्यम से 90 एमजीडी और उत्तर प्रदेश से 50 एमजीडी आता है। यमुना नदी में दूषित पानी जाने से रोकने के लिए जल मंत्री एवं दिल्ली जल बोर्ड (डीजेबी) के अध्यक्ष सत्येंद्र जैन ने नरेला स्थित सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट का दौरा किया। उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार ने यमुना नदी में पड़ोसी राज्यों से आने वाले गंदे पानी को भी साफ करने का निर्णय लिया है। हालांकि यह काम पड़ोसी राज्यों का है, लेकिन हमारा मानना है कि यमुना नदी किसी राज्य की नहीं है, बल्कि देश की नदी है। इसलिए दिल्ली सरकार ने यमुना नदी में गिरने वाले हर प्रकार के गंदे पानी को ट्रीट करने का फैसला किया है और नरेला स्थित एसटीपी में इसकी शुरुआत कर दी गई है।

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