दिसंबर 2023 में मूल गर्भगृह में बिराजेंगे रामलला: महामंत्री चंपत राय

अयोध्या। दिसंबर 2023 में भगवान श्रीराम के विग्रह को विधिविधान पूर्वक पूजन के बाद प्राण प्रतिष्ठा करके मूल गर्भगृह में स्थापित कर दिया जाएगा। इसके बाद लोग अपने आराध्य का दर्शन मुख्य मंदिर में करने लगेंगे। यह जानकारी पत्रकारों से बात करते हुए श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महामंत्री चंपत राय ने कही। उन्होंने बताया कि राजस्थान की कार्यशाला में मंदिर निर्माण में प्रयुक्त होने वाले पत्थरों को तराशा जा रहा है। इन पत्थरों की नक्काशी के काम की गति देखने के लिए ट्रस्ट के पदाधिकारियों की एक टीम 14 दिसंबर को राजस्थान जाएगी। श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महामंत्री चंपत राय ने बताया कि राजस्थान की कार्यशाला में मंदिर निर्माण में लगाने वाले पत्थरों को तराशा जा रहा है। मकराना मार्बल की एक कार्यशाला है, जबकि पिंक सैंड स्टोन की तीन अन्य कार्यशालाओं को अभी एक लाख घन फीट पत्थरों की नक्काशी का काम दिया गया है। प्रत्येक कार्यशाला को तय समय में पत्थरों को तराशने का काम पूरा करना होगा। उन्होंने बताया कि राजस्थान के सिरोही जिले में स्थित चारों कार्यशालाओं को देखने के लिए टीम जा रही है।

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