कई कर्मचारियों को एस्मा के तहत यूजेवीएनएल ने जारी किया नोटिस

उत्तराखंड। तीनों ऊर्जा निगमों के कर्मचारियों की हड़ताल में अब कुछ ही घंटे बचे हैं। हड़ताल टालने को लेकर प्रदेश में पहले ही आवश्यक सेवा अनुरक्षण अधिनियम (एस्मा) लागू कर चुकी सरकार अब सख्ती के मूड में है। उत्तराखंड जल विद्युत निगम लिमिटेड (यूजेवीएनएल) प्रबंधन ने अपने 189 अधिकारी-कर्मचारियों को एस्मा के तहत नोटिस जारी किया है। यूजेवीएनएल की ओर से जारी नोटिस के मुताबकि अगर कर्मचारियों ने आंदोलन या हड़ताल की, तो एस्मा के साथ ही आचरण नियमावली 1956 के तहत कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। सभी कर्मचारियों को स्पष्ट रूप से कहा गया है कि संयुक्त मोर्चा की ओर से की गई हड़ताल की घोषणा अवैध है। इसलिए अगर किसी भी कर्मचारी ने हड़ताल में हिस्सा लिया या किसी को उकसाने की कोशिश की तो एस्मा के तहत गिरफ्तारी, सजा और आर्थिक दंड की कार्रवाई अमल में लाई जाएगी। उपनल, पीआरडी के माध्यम से कार्यरत कर्मचारियों की तत्काल सेवाएं समाप्त की जा सकती हैं। हड़ताल या आंदोलन की अवधि में सभी नियंत्रक अधिकारियों की जिम्मेदारी होगी कि वह रोजाना अपने कर्मचारियों की उपस्थिति लेना सुनिश्चित करें। ड्यूटी से अनुपस्थित रहने वाले और हड़ताल में शामिल होने वाले कर्मचारियों की सूची छह अक्टूबर को दोपहर 12 बजे तक यूजेवीएनएल एमडी कार्यालय को उपलब्ध कराएं। सभी कर्मचारियों को यह भी निर्देश दिए गए हैं कि वह बिना पूर्व अनुमति अपना दफ्तर नहीं छोड़ेंगे। प्रदेश में सुचारू बिजली उत्पादन के लिए सभी इंतजामात किए जाएंगे। आपको बता दें कि सचिव ऊर्जा सौजन्या की ओर से 27 जुलाई को हड़ताल के दौरान छह माह के लिए एस्मा लागू करने के आदेश जारी किए गए थे, जो कि अभी प्रभावी हैं।

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