हरियाणा। हरियाणा के राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने कहा कि निजी विश्वविद्यालय व्यापार का केंद्र न बनें। पैसा सब कुछ नहीं है, शिक्षण एक सम्मानित कार्य है, इसका व्यापारीकरण नहीं होना चाहिए। स्थानीय भाषा में पढ़ाई शुरू करने की दिशा में काम करें, इससे बड़ा लाभ होगा। बेशक इसमें समय लगेगा लेकिन परिणाम सुखद रहेगा। राज्यपाल ने राजभवन में प्रदेशभर के निजी विश्वविद्यालयों के कुलपतियों एवं कुलसचिवों को एक दिवसीय कार्यशाला के समापन सत्र में अनेक नसीहत दीं। उन्होंने कहा कि कोरोना के संकट काल में सबसे अधिक मार शिक्षा के क्षेत्र पर पड़ी है फिर भी इस चुनौती को पार करते हुए हम आगे बढ़े हैं। शिक्षाविदों से आह्वान है कि वे विश्वविद्यालयों में ऐसा माहौल बनाएं कि विद्यार्थियों में नौकरी के पीछे भागने के बजाय अपना व्यवसाय स्थापित करने की भावना पैदा हो। इस लक्ष्य को स्किल डेवलेपमेंट के माध्यम से पूरा किया जा सकता है। प्राकृतिक खेती पर ज्यादा बल देना चाहिए। फूड, स्वास्थ्य और छोटे-छोटे स्किल डेवलपमेंट के कोर्स की तरफ फोकस करें।