जानें क्यों सूरज ढलने के बाद नहीं करनी चाहिए कंघी

एस्‍ट्रोलॉजी। सनातन धर्म में प्राचीन काल से ही कुछ ऐसे कार्य हैं जिनको सूरज ढलने के बाद करने की मनाही होती है। इन्हीं में से एक है सूरज ढलने के बाद महिलाओं का बालों में कंघी करना। आज के दौर में भी प्राचीन काल से चली आ रही कुछ परंपराएं और मान्यताएं आज भी यथावत बनी हुई है। शास्त्रों के मुताबिक, सूरज ढलने के बाद महिलाओं के बालों का खुला होना और कंघी करना अशुभ माना जाता है। अक्सर आपने भी घर के बड़े बुजुर्गों से यह कहते सुना होगा कि महिलाओं को शाम को सूरज ढलने के बाद बाल नहीं धोना चाहिए। इसके अलावा महिलाओं को अपने बाल बांधकर रखने की भी सलाह दी जाती है। तो आइए इसके पीछे की वजह जानते हैं।

 बालों में कब नहीं करनी चाहिए कंघी?

ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक सूरज डूबने के बाद महिलाओं को बालों में कंघी करने की मनाही होती है। ऐसी मान्‍यता है कि सूर्य डूबने के बाद वातावरण में नकारात्मक शक्तियों का वास होता है, ऐसे में रात के समय यदि महिलाएं अपने बालों में कंघी करती हैं या बालों को खुला रखती हैं तो इन नकारात्मक शक्तियों का प्रभाव उन पर पड़ सकता है।

* टूटे बाल घर से बाहर फेंकना :-
शास्‍त्रो के मुताबिक महिलाओं को रात के समय सूरज डूबने के बाद अपने टूटे हुए बालों को घर से बाहर फेंकने की भी मनाही होती है। इसके पीछे हमारे पूर्वजों का तर्क है कि हो सकता है कि रात में आपके टूटे हुए बालों का गलत प्रयोग कर कोई आप पर जादू टोना कर दें। ऐसे में आपके द्वारा फेंके हुए बालों से आपको परेशानी हो सकती है।

* रात में बालों को खुला रखना :-
महिलाओं को रात में हमेशा अपने बाल बांधकर रखने की सलाह दी जाती है। ऐसा माना जाता है कि सूरज ढलने के बाद बालों को खुला रखना परिवार के लिए अच्छा नहीं होता।

* कंघी का नीचे गिरना :-
ऐसी मान्‍यता है कि यदि किसी महिला के हाथ से कंघी करते समय कंघी झटक कर नीचे गिर जाए तो ऐसे में अशुभ समाचार सुनने को मिलते हैं।

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