वाराणसी। भारतीय रेल ने बुधवार को रेल परिचालन को अत्याधुनिक करने की दिशा में एक नया उपकरण ईओटीटी (एंड आफ ट्रेन टेलीमेट्री) विकसित किया है। यह उपकरण बनारस रेल इंजन कारखाना (बरेका) और लखनऊ के आरडीएसओ द्वारा संयुक्त प्रयास से विकसित किया गया है। यह उपकरण अत्याधुनिक होने के साथ मानवरहित और वायरलेस तकनीकी युक्त है। इस उपकरण को सर्वप्रथम विद्युत मालगाड़ी रेल इंजन नंबर 32266 में लगाया गया है। सफलतापूर्वक परीक्षण के बाद इस तकनीक का प्रयोग मालगाड़ियों के परिचालन में किया जाएगा। ईओटीटी उपकरण के दो हिस्से होते हैं। एक हिस्से को कैब यूनिट (सीयू) कहते हैं, जिसे लोकोमोटिव के भीतर कैब में लोको पायलट के पास लगाया जाता है। दूसरा हिस्सा जिसको रियर यूनिट (आरयू) कहते हैं, जिसे आखरी वैगन में लगाई जाती है। दोनों यूनिट आपस में रेडियो वायरलेस तकनीकी के द्वारा लिंक रहते हैं। जिससे गार्ड द्वारा संचालित सारे कार्यों का लेखा-जोखा ड्राइवर और परिचालन केंद्र को लगातार प्राप्त होता रहता है। यह तकनीकी किफायती और विश्वसनीय है। साथ ही विश्व में कई रेल नेटवर्कों में प्रयोग की जाती है।