आगरा। आगरा में यमुना का उफान थम गया है। गुरुवार को नदी का जलस्तर एक फीट घट गया। शुक्रवार भी जलस्तर घट रहा है। वहीं दूसरी ओर बटेश्वर और कचौरा घाट के मंदिरों तक पानी पहुंच गया। यमुना के तलहटी में बसे गांवों में खेत जलमग्न हैं, लेकिन किसी तरह के नुकसान की सूचना नहीं है। प्रतापपुरा स्थित बाढ़ नियंत्रण कक्ष के मुताबिक वॉटर वर्क्स पर यमुना का जलस्तर गुरुवार की शाम 4 बजे 491 फीट था। बुधवार को यह 492 फीट तक पहुंचा। पिछले 24 घंटे में जलस्तर में एक फीट गिरावट आई है। बाढ़ नियंत्रण प्रभारी उदल सिंह ने बताया कि यमुना में अब जलस्तर नहीं बढ़ेगा। लो फ्लड लेवल 495 फीट है। गुरुवार को मथुरा के गोकुल बैराज से आगरा की ओर यमुना में 32,980 क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। ओखला बैराज से यमुना में 21,222 क्यूसेक डिस्चार्ज है। हरियाणा स्थित ताजेवाला (हथिनीकुंड) बैराज से भी डिस्चार्ज घट गया है। यहां 6,680 क्यूसेक डिस्चार्ज है। बाढ़ नियंत्रण प्रभारी ने बताया कि पहाड़ों पर बारिश से यमुना में जलस्तर बढ़ेगा। अगर बारिश नहीं होती है तो अगले दो से तीन दिन में यमुना का पानी आगे बह जाएगा। जिसके बाद हालात पूरी तरह सामान्य होंगे। यमुना नदी में विभिन्न बांधों से छोडे़ गए और उटंगन का पानी आने से बाह में बाढ़ की आशंका पैदा हो गई है। बटेश्वर की मंदिर शृंखला के घाट पर गुरुवार को 4 फीट पानी बढ़ा है। कचौराघाट के प्राचीन मंदिर की देहरी तक पानी भर गया है। बाह के निचले इलाके के गांवों के बीहड़ी रास्ते भी जलमग्न हो गए हैं। कछार की फसलें पहले से डूबी हुई हैं। एसडीएम बाह अब्दुल बासित ने बताया कि यमुना के भी जलस्तर पर नजर रखी जा रही है।