हेल्थ। लंबी उम्र तक जीने के लिए सबसे ज़रूरी है हमारे दिल का स्वस्थ और निरोग बने रहना। आप हार्ट को तभी हेल्दी रख सकते हैं, जब खान-पान की आदतें, लाइफस्टाइल हैबिट्स अच्छी होंगी। आजकल ज्यादातर लोग अधिक तेल-मसालेदार, प्रॉसेस्ड फूड्स, हाई कैलोरी, हाई कोलेस्ट्रॉल युक्त भोजन का सेवन करते हैं, जिससे दिल की समस्याएं उत्पन्न होने लगती हैं।
हमारा हार्ट भोजन में इस्तेमाल किए जाने वाले तेल के कारण भी रोगों से ग्रस्त हो जाता है। यदि आपको अपने दिल की चिंता है, तो हार्ट को स्वस्थ रखने वाले फूड्स का चुनाव करने के साथ ही कुकिंग ऑयल पर भी ध्यान देना जरुरी है। कुछ खास तरह के तेल में ऐसे तत्व मौजूद होते हैं, जो दिल के लिए अनहेल्दी होते हैं।
हार्ट के लिए हेल्दी कुकिंग ऑयल का चुनाव कैसे करें:-
अमेरिकन हेल्थ एसोसिएशन का कहना है कि ऐसे कुकिंग ऑयल का इस्तेमाल करना चाहिए, जिनमें सैचुरेटेड फैट कम हो और पॉलीअनसैचुरेटेड फैट और मोनोअनसैचुरेटेड फैट अधिक हों। ये हार्ट के लिए हेल्दी फैट्स होते हैं। ये हेल्दी या गुड फैट होते हैं। फूड में मुख्य रूप से चार प्रकार के डायटरी फैट्स होते हैं। बैड फैट में सैचुरेटेड और ट्रांस फैट्स आते हैं, जो कमरे के तापमान में भी सॉलिड होते हैं।
मोनोअनसैचुरेटेड और पॉलीअनसैचुरेटेड फैट्स नेचर में लिक्विड की तरह होते हैं। गुड फैट्स की बात करें तो ये ब्लड प्रेशर को नॉर्मल बनाए रखता है, कोलेस्ट्रॉल लेवल हाई नहीं होने देता है, जिससे हृदय रोग और स्ट्रोक होने की संभावना काफी हद तक कम हो जाती है। साथ ही गुड फैट्स इंफ्लेमेशन से भी बचाते हैं। यदि आपको गुड फैट या मोनोअनसैचुरेटेड युक्त ऑयल का सेवन करना है, तो आप ऑलिव ऑयल, कनोला, तिल या फिर मूंगफली के तेल का सेवन कर सकते हैं।
ऑलिव ऑयल के फायदे:–
बहुत कम लोग ही ऑलिव ऑयल का इस्तेमाल भोजन में करते हैं, लेकिन यह बहुत ही हेल्दी कुकिंग ऑयल होता है। इसमें सैचुरेटेड फैट बहुत कम होता है। गुड फैट जैसे मोनोअनसैचुरेटेड फैट्स में हाई होता है। ऑलिव ऑयल के सेवन से इंफ्लेमेशन की समस्या नहीं होती है। इसमें एंटीऑक्सीडेंट्स प्रॉपर्टीज भरपूर होती हैं, जो क्रोनिक डिजीज होने के जोखिम को कम करते हैं।
नारियल तेल के फायदे:-
नारियल तेल एक तरह का ट्रॉपिकल तेल है, जिसके सेहत पर कई लाभ होते हैं। इसमें एंटीमाइक्रोबियल प्रभाव होते हैं। यह फैट बर्न करने की प्रक्रिया को तेज करता है, साथ ही सेहत को कई अन्य लाभ भी होता है। ऑलिव या जैतून के तेल की तुलान में नारियल तेल में सैचुरेटेड फैट अधिक होता है। कोकोनट ऑयल में ऑलिव ऑयल की तुलना में पोषक तत्वों की भी कमी होती है। नारियल तेल में सैचुरेट फैट अधिक होता है, इसलिए यह हार्ट डिजीज के रिस्क को बढ़ा सकता है। एक्सपर्ट के अनुसार, एक बड़े चम्मच नारियल के तेल में ऑलिव ऑयल की तुलना में लगभग छह गुना अधिक संतृप्त वसा या सैचुरेटेड फैट होता है।
दिल के ऑलिव ऑयल बेहतर या नारियल तेल:-
जब दिल को स्वस्थ रखने के लिए भोजन में कुकिंग ऑयल के इस्तेमाल की बात आती है, तो ऑलिव ऑयल, नारियल के तेल या अन्य कुकिंग ऑयल की तुलना में काफी बेहतर और हार्ट फ्रेंडली होता है। जैतून का तेल एलडीएल (खराब) कोलेस्ट्रॉल और हृदय रोग के जोखिम को कम करता है। नारियल के तेल में उच्च संतृप्त वसा होता है, जो हृदय रोग के जोखिम को बढ़ा सकता है। जैतून के तेल के फायदों की बात करें तो यह टाइप-2 डायबिटीज और कुछ कैंसर के खतरे को कम कर सकता है।